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क्या IUI प्रक्रिया गर्भधारण की समस्या को दूर करती है? इसे सफल बनाने के 6 टिप्स! डॉक्टर से जाने

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दरअसल आज के समय में कई महिला और पुरुष इनफर्टिलिटी की समस्या से जूझ रहे हैं। इसके कारण लोगों की प्रजनन क्षमता काफी कमजोर हो रही है, जिसकी वजह से उनको कंसीव करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। विशेषज्ञों के अनुसार आज के समय में ज्यादातर लोग अनहेल्दी जीवन शैली को अपना चुके हैं। आपको बता दें कि ऐसा सिर्फ शहरों में ही नहीं, बल्कि गांव में भी हो रहा है। लोगों को हेल्दी खाना अपनाना चाहिए, पर ज्यादातर लोगों का खानपान खराब हो रहा है। लोग प्रोसेस्ड फूड, स्ट्रीट फूड और अनहेल्दी खाने की चीजों को अपनी डाइट का हिस्सा बना रहे हैं। इसी तरह फिजिकल एक्टिविटी में कमी भी लोगों के स्वास्थ्य को खराब करने के लिए जिम्मेदार है।

आमतौर पर जो महिलाएं या पुरुष प्राकृतिक रूप से बच्चे को पैदा नहीं कर पाते हैं, तो वह IVF नाम की एक मेडिकल प्रक्रिया का सहारा लेते हैं, ताकि उन को माता पिता बनने का सुख प्राप्त हो सके। इसी तरह की एक प्रक्रिया जिसका नाम है आईयूआई। इंट्रा यूटेराइन इनसेमिनेशन आईयूआई का मतलब होता है। दरअसल अंतर्गर्भाशयी गर्भाधान (आईयूआई) उन जोड़ों के लिए सबसे ज़्यादा उपयोग की जाने वाली तकनीकों में से एक है, जिनको गर्भधारण करने में कठिनाई होती है। आपको बता दें की यह एक तरह की प्रजनन प्रक्रिया है, जिस में आमतौर पर पुरुष के शुक्राणुयों को एक महिला के गर्भाशय में सीधे प्रवेश कराया जाता है, ताकि उनके गर्भधारण करने की संभावना में बढ़ोतरी हो सके। यह मुकालबे में आसान, गैर-आक्रामक और एक सस्ता इलाज है। यह गर्भधारण में लगने वाले समय को कम करने में मदद कर सकता है। पर महत्वपूर्ण बात यह हैं कि आईयूआई प्रक्रिया सफल हो सके, इसके लिए जोड़ों को क्या कुछ करने की जरूरत होती है। आइये इस लेख के माध्यम से इसके बारे में विस्तार से डॉक्टर से जानकारी प्राप्त करते हैं।  

आईयूआई प्रक्रिया को सफल बनाने के लिए इन 6 सुझावों को अपनाएं 

1. हेल्दी डाइट को अपनाएं 

आपको बता दें कि आईयूआई प्रक्रिया को सफल बनाने के लिए, यह बहुत ही जरूरी है कि आप अपनी डाइट में क्या शामिल कर रहे हैं। आईयूआई में हेल्दी डाइट को लेना बहुत जरूरी होता है। आप अपनी डाइट में पोषक तत्वों से भरपूर चीजें, मौसमी सब्जियां और फलों के साथ-साथ लीन प्रोटीन, साबुत अनाज, हेल्दी फैट और इसके साथ ही डेयरी प्रोडक्ट को शामिल करें। इसके आलावा आप शुगर ड्रिंक और शराब का सेवन बिल्कुल भी न करें। इस तरह की चीजें आमतौर पर कंसीव करने में अड़चनें डाल सकती हैं। इसके साथ ही प्रोसेस्ड फूड और कैफीन का सेवन किया जाना बिलकुल भी ठीक नहीं होता है। 

2. शारीरिक रूप से एक्टिव रहें

दरअसल कई महिलाएं आईयूआई प्रक्रिया से पहले काफी ज्यादा एक्टिव रहती हैं। परन्तु इस प्रक्रिया के बाद महिलाएं जरूरत से ज्यादा आराम करने के मोड में चली जाती हैं। यह बिल्कुल भी सही नहीं होता है। आपको बता दें कि आईयूआई प्रक्रिया के बाद आपको ताकत या अत्यधिक कसरत नहीं करनी चाहिए। इस से आपकी सेहत को काफी नुकसान हो सकता है। इसकी बजाए कोशिश करें कि आप हलकी कसरतों को करें। इस चीज का ध्यान रखें कि आप जब रोजाना एक्सरसाइज करते हैं, तो इसकी वजह से आपका ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाता है, जो आपके स्वाश्थ मैं काफी सुधार करता है। आपको बता दें कि इसका सकारात्मक प्रभाव कंसीव करने की प्रक्रिया पर भी नजर आता है।

3. तनाव न लें

तनाव ज्यादातर लोगों को परेशानी में डालता है। दरअसल परेशानियों की जड़ ही तनाव होता है। इसलिए विशेषज्ञ अक्सर आपको इस बात की सलाह जरूर देते हैं कि आप तनाव से जितना हो सके दूर रहें। खास तौर पर, जो महिलाएं कंसीव करने के लिए आईयूआई प्रक्रिया से गुजर रही हैं, उनको बिल्कुल भी तनाव नहीं लेना चाहिए। इसके लिए आप रोजाना योग, मेडिटेशन को कर सकते हैं। इससे आपको काफी मदद मिल सकती है और आपके स्वास्थ्य में भी काफी सुधार होता है। आपको बता दें कि तनाव कम होने पर आपके शरीर में हार्मोनल बैलेंस भी बना रहता है।

4. इलाज को समझें

दरअसल कई महिलाएं आईयूआई प्रक्रिया को करवाने लिए तैयार हो जाती हैं, पर उनके पास इसके बारे में पर्याप्त जानकारी नहीं होती है। इस तरह की स्थिति में वह अपनी सही तरीके से देखभाल नहीं कर पाती हैं और फिर उनको इसका बड़ा नुकसान झेलना पड़ता है। इस तरह की स्थिति से अपना बचाव करने के लिए जरूरी है, कि आईयूआई प्रक्रिया को करवाने से पहले आप इसके इलाज के बारे में पूरी तरह से समझें। इसमें समय बहुत ज्यादा कीमती होता है। इस दौरान डॉक्टर द्वारा दी गई दवाओं को भी समय पर लेना बहुत जरूरी होता है। इसके साथ ही प्रक्रिया के बाद वाले निर्देशों को भी सही तरह से समझना बहुत जरूरी होता है। 

5. आईयूआई का समय 

दरअसल आईयूआई प्रक्रिया के सफल होने पर समय का बहुत बड़ा योगदान होता है, इसके बारे में हमने पहले से ही जिक्र किया है। इसके लिए आपको ओवुलेशन प्रडिक्टर किट का इस्तेमाल करना चाहिए। इसके साथ ही ओवुलेशन के बारे में जानकारी लेने के लिए आप अल्ट्रासाउंड के माध्यम से निगरानी रख सकते हैं। 

6. प्रक्रिया के बाद देखभाल करें 

दरअसल आईयूआई ट्रीटमेंट के दौरान महिलाओं को प्रक्रिया के बाद देखभाल का भी ध्यान रखना चाहिए। इसका मतलब है कि प्रक्रिया के बाद आपको पर्याप्त आराम करना चाहिए, भारी कसरतों को नहीं करना चाहिए, अत्यधिक कसरतों से दूरी बनाकर रखनी चाहिए, नियमित रूप से अपने स्वास्थ्य की निगरानी रखनी चाहिए और इसके साथ ही अच्छी आदतों को अपनाना चाहिए। जरूरत होने पर डॉक्टर से सम्पर्क करें और अपने शरीर में दिखाई देने वाले लक्षणों की तरफ ध्यान दें। और हां साथ ही इस बात का ध्यान रखें कि यह एक डॉक्टरी प्रक्रिया है, जिसमें धैर्य की बहुत ज्यादा जरूरत होती है। 

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल 

प्रश्न 1. मुझे कैसे पता चलेगा कि मेरा आईयूआई सफल है?

यह बताने का कोई निश्चित पैमाना नहीं है कि आईयूआई सफल होगा। किसी भी चीज की गारंटी नहीं होती। पर हां आप कुछ लक्षणों को देख कर इस बात की संतुष्टि कर सकते हैं कि आपकी आईयूआई प्रक्रिया सफल हो रही है। इन लक्षणों में हल्के धब्बे या ऐंठन (इम्प्लांटेशन ब्लीडिंग), स्तन कोमलता, थकान और मतली आदि शामिल है। इस बात का ध्यान रखें कि ये लक्षण किसी और बीमारी के भी हो सकते हैं। 

प्रश्न 2. आईयूआई फेल क्यों होता है?

आईयूआई प्रक्रिया के असफल होने के पीछे कई कारण होते हैं, जैसे कि गलत केंद्र का चुनाव, शुक्राणु की गुणवत्ता का सही न होना, महिला का बहुत बूढ़ा होना या सही समय पर शुक्राणु का इंजेक्शन न लगाना। इसके बारे में विस्तार से जानकारी लेने के लिए आपको इसके एक्सपर्ट से बात करनी चाहिए।

प्रश्न 3. आईयूआई प्रक्रिया करने से पहले क्या करना चाहिए?

आईयूआई प्रक्रिया को शुरू करने से पहले पुरुषों के स्पर्म की गुणवत्ता की जांच करनी चाहिए और इसके साथ ही महिलाओं को अपने ओवुलेशन के बारे में जानकारी होनी चाहिए। आप इस संबंध में डॉक्टर से सभी आवश्यक जानकारी को लें, ताकि इसके असफल होने के रिस्क को कम किया जा सके। 

निष्कर्ष : आज के समय में कई महिला और पुरुष बांझपन की समस्या से जूझ रहे हैं, बांझपन ज्यादातर जीवनशैली में बदलाव और लोगों के खान पान का खराब होने के कारण होता है। जो महिलाएं या पुरुष प्राकृतिक रूप से बच्चा पैदा नहीं कर पाते हैं, तो वह IVF प्रक्रिया का सहारा लेते हैं। जिसकी वजह से उन को बच्चे का सुख प्राप्त होता है। इसी तरह की एक प्रक्रिया आईयूआई जिसका मतलब इंट्रा यूटेराइन इनसेमिनेशन है। आईयूआई उन जोड़ों के लिए उपयोग की जाने वाली तकनीक है, जिनको गर्भधारण करने में कठिनाई होती है।आईयूआई गर्भधारण करने की संभावना को बढ़ाने में मदद करती है। महत्वपूर्ण बात यह हैं कि आईयूआई प्रक्रिया को सफल सफल बनने के लिए जोड़ों को हेल्दी डाइट को अपनाना चाहिए, तनाव से दूर रहना चाहिए, शारीरिक रूप से एक्टिव रहना चाहिए, इलाज, आईयूआई का समय और इसके साथ ही प्रक्रिया के बाद देखभाल के बारे में पूरी जानकारी होनी चाहिए। अगर आप भी आईयूआई प्रक्रिया में भाग लेने की सोच रही हैं, लेकिन पहले इस के बारे में जानकारी प्राप्त करना चाहती हैं, तो आप आज ही सुमिता सोफत हॉस्पिटल जाने आपकी अपॉइंटमेंट को बुक करवा सकते हैं और इसके विशेषज्ञों से इसके बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।

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